देहरादून से शगुफता परवीन की रिपोर्ट :कोरोना की तीसरी लहर की चिंताओं के बीच कांवड़ यात्रा को आगे बढ़ाने के उत्तर प्रदेश सरकार के फैसले से सुप्रीम कोर्ट नाराज है।कोरोना की तीसरी लहर की आशंका को लेकर स्वास्थ्य विशेषज्ञों और केंद्र सरकार की चिंता बढ़ती जा रही है। इस बीच कांवड़ यात्रा भी शुरू होने वाली है। कांवड़ यात्रा का धार्मिक महत्व है और भक्तों का इससे अत्यधिक भावनात्मक जुड़ाव।
कावंड़ यात्रा को लेकर पुलिस की सख़्ती
कावड़ यात्रा को लेकर डीजीपी अशोक कुमार का बयान आया है। DGP अशोक कुमार ने सभी चौकी थानों की पुलिस को अलर्ट रहने के निर्देश दिए हैं। डीजीपी अशोक कुमार ने कहा कि किसी भी कांवड़िए को बॉर्डर पर एंट्री नहीं दी जाएगी। उन्होंने अपील करते हुए कहा कि अपने घर के पास के शिवालय में ही जल चढ़ाए।
उत्तराखंड सरकार की ओर से कांवड़ मेले में रोक लगाने के बाद हरिद्वार पुलिस ने कांवड़ियों को हरिद्वार आने से रोकने के लिए कमर कस ली है। एसएसपी ने बैठक कर रूपरेखा तैयार की कि कैसे कांवड़ियों को रोकना है? इसके लिए भी प्लान तैयार किया गया है।
सीमाओं को कांवड़ियों के लिए 24 जुलाई से ही सील कर दिया जाएगा। कांवड़िये मेले के दौरान हरिद्वार आये तो उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जाएगा, और उनके वाहन को भी सीज किया जाएगा। एसएसपी ने इस संबंध में आदेश जारी कर दिए है।
वहीं सरकार कांवडियों को गंगाजल देने की तैयारी में है। सीएम धामी ने कहा कि अधिकारियों से बातचीत के बाद गंगाजल को लेकर फैसला किया जाएगा। हालांकि यात्रा रद्द करने के फैसले का केन्द्रीय पर्यटन राज्य मंत्री, कांग्रेस और आईएमए ने स्वागत किया है।
वहीं कोरोना महामारी की वजह से उत्तराखंड सरकार के कांवड़ यात्रा को रद्द किए जाने के फैसले के बाद हरिद्वार के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने चेतावनी जारी की है, जिसमें लिखा है कि मेले के दौरान हरिद्वार जनपद की सभी सीमाएं सील रहेंगी, इसलिए कोई भी भक्त जल भरने हरिद्वार न पहुंचे।