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ऑनलाइन फूड डिलीवरी के नाम पर स्मैक तस्करी करने वाले तीन आरोपियों को किया पुलिस ने गिरफ्तार

देहरादून।  शहर में फूड डिलीवरी की आड़ में ड्रग्स की तस्करी का खुलासा हुआ है। मोबाइल चोरी के आरोपी की तलाश में जुटी पुलिस ने तीन नशा तस्करों को गिरफ्तार किया है। इनमें से एक ने मोबाइल चोरी किया था जबकि दो जोमैटो और स्विगी में रहकर ड्रग्स की तस्करी करते थे। तस्करी के लिए ही उन्होंने फूड डिलीवरी शुरू की थी। एसएसपी दलीप सिंह कुंवर ने मंगलवार को क्लेमेंटटाउन पुलिस की कार्रवाई की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि नेहा सिंघल निवासी टर्नर रोड ने शिकायत की थी। एक जिम से उनका डेढ़ लाख रुपये का मोबाइल चोरी हो गया था। पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज की जांच की तो पता चला कि बुर्का पहने एक व्यक्ति मोबाइल चोरी कर रहा है। फुटेज के आधार पर पुलिस आगे बढ़ी तो एक जगह व्यक्ति बिना हेलमेट के बाइक पर जाता दिखा।

बाइक नंबर की जांच हुई तो यह सौरभ कुमार निवासी टीचर कॉलोनी, देवबंद, सहारनपुर के नाम पर थी। पता चला कि सौरभ अपनी कार से मंगलवार को देहरादून आने वाला है। सूचना पर आशारोड़ी चेकपोस्ट पर कार रोकी गई। इसमें सौरभ, नीरज कुमार राणा और विशाल कुमार नाम के युवक बैठे थे। तलाशी में इनके पास से चोरी का मोबाइल, 70 ग्राम स्मैक और साढ़े तीन लाख रुपये नकद बरामद हुए। पूछताछ में नीरज ने बताया कि विशाल उसका बड़ा भाई है और सौरभ पास के मोहल्ले का रहने वाला है। नीरज चंद्रबनी स्थित एक जिम में ट्रेनर है। वह विशाल के साथ तीन वर्षों से देहरादून में रह रहा है। पहले भी वह चोरी के आरोप में जेल जा चुका है। जेल में उसकी मुलाकात स्मैक तस्करों से हुई। वहां उन्होंने जल्द पैसा कमाने के चक्कर में तस्करी की योजना बनाई।

इसके लिए उन्होंने फूड डिलीवरी करने की सोची और जोमेटो व स्विगी में काम करना शुरू कर दिया। विशाल और सौरभ ने फूड डिलीवरी शुरू की और वह उन्हें सहारनपुर से स्मैक लाकर देने लगा। जिम से मोबाइल चोरी करने की योजना भी उसने पैसों के लिए बनाई थी। एसएसपी ने बताया कि आरोपियों को न्यायालय में पेश कर जेल भेज दिया गया है।

आरोपियों ने स्मैक तस्करी से आए पैसे से एक महंगी स्पोर्ट्स बाइक, तीन स्प्लेंडर मोटरसाइकिलें और पित्थूवाला में 25 लाख रुपये का प्लॉट भी खरीदा है। आरोपियों की निशानदेही पर चारों मोटरसाइकिलों को भी बरामद कर लिया गया है। इनकी संपत्ति की जानकारियां भी जुटाई जा रही हैं। प्रशासन के निर्देश पर इन्हें जब्त करने की प्रक्रिया भी शुरू की जाएगी। शहर में होटलों की रसोई रात में साढ़े दस बजे तक बंद हो जाती हैं। अधिकतर रेस्टोरेंट भी रात 11 बजे तक बंद हो जाते हैं। इसके अलावा कुछ चुनिंदा होटल और ढाबे हैं रात में एक बजे तक खुले रहते हैं। मगर, डिलीवरी ब्वॉय रात में तीन बजे तक भी शहर में इधर-उधर मंडराते देखे जाते हैं।

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